बुद्ध पूर्णिमा यानी महापुर्णिमा का संसार मे क्या महत्त्व है,उसे मनाने का शुभ मुहूर्त क्या है,कैसे मनाये लॉक डाउन में,,जाने स्वामी सत्येन्द्र सत्यसाहिब जी से,


महात्मा बुद्ध के जीवन में इस बैसाख पूर्णिमा के दिन ही तीन महान घटनाएं हुई,,1-महात्मा बुद्ध यानी सिद्धार्थ का जन्म-2-महात्मा बुद्ध को इसी दिन अपना आत्मसाक्षातकार का बोध हुआ कि-मैं कौन हूं,,-3-ओर इसी पूर्णिमा के दिन ही महात्मा बुद्ध को महानिर्वाण की प्राप्ति हुई।ओर इसी दिन महात्मा बुद्ध को ये महाज्ञान प्राप्त हुआ जो उन्होंने संसार को दिया,जो अधिकतर बौद्ध अनुयायी अपनाते है,वैसे ये अष्टांग योग प्राचीन वैदिक ज्ञान ही है,जिसे महात्मा बुद्ध ने अपने अनुभव से भक्तो को दिया है-

जो सभी मनुष्य जाति को देता है-एक सच्चे सत्य और अहिंसा भरा प्रेम और शांति के जीवन की नई शुभप्रभात दिशा-
1-सम्यक दृष्टि:-
चार आर्य सत्यों को मानना, जीव हिंसा नहीं करना, चोरी नहीं करना, व्यभिचार( पर-स्त्री या पुरुष गमन) नहीं करना, ये शारीरिक सदाचरण हैं।
2-सम्यक संकल्प।
3-सम्यक वाणी।
4-सम्यक कर्मांत।
5-सम्यक आजीविका.
6;सम्यक व्यायाम।
7-सम्यक स्मृति।
8-सम्यक समाधि।
यो इन्हें अवश्य अपनाये।

ओर यो ये ही महात्मा बुद्ध के महान तीन महाज्ञान अनुभव दर्शन प्राप्ति से मनुष्य को आध्यात्मिक जीवन के तीन विशेष पक्ष-अर्थ-धर्म-मोक्ष को प्रदान करने वाली महापुर्णिमा है।

यो सभी मनुष्यों को इस दिन को अपने अपने गुरु मंत्र और ध्यान विधि से खूब जप ध्यान यज्ञानुष्ठान करते हुए-अब के लॉक डाउन के चलते हुए,प्रार्थना करते हुए,अपने घर पर ही मनानी चाहिए।

बुद्ध पूर्णिमा की तिथि:- 7 मई 2020 ओर,
पूर्णिमा तिथि प्रारंभ:- 6 मई 2020 को शाम 7 बजकर 44 मिनट से शुरू होकर,
पूर्णिमा तिथि समाप्‍त:-7 मई 2020 को शाम 04 बजकर 14 मिनट तक सम्पूर्ण होगी।
यो इसी समय से सभी भक्त,अपने घर मे अखण्ड घी या तिल की ज्योति जलाकर,अधिक से अधिक गुरु मंत्र जप ओर रेहि क्रियायोग करते हुए,अपनी आत्मा का ध्यान करते समय लगाये तो,आपको इन महान पुरुष बुद्ध की महाउर्जा का भी लाभ मिलेगा।और दिन में जब समय मिले रोग निवारक ओषधि युक्त सामग्री से अधिक से अधिक आहुति देते यज्ञानुष्ठान अवश्य करें।कम से कम दोपहर ओर रात्रि में यज्ञ अवश्य करें।

बुद्ध पूर्णिमा के दिन गंगा स्‍नान का है विशेष महत्‍व :-

हिन्‍दू धर्म में हर महीने की पूर्णिमा भगवान सत्यनारायण ओर सत्यई पूर्णिमा ओर उनके सभी अवतारों को समर्पित होती है,वैसे तो हर पूर्णिमा के दिन गंगा स्नान को अत्‍यंत लाभदायक माना जाता है, लेकिन वैशाख पूर्णिमा का अपना-अलग ही महत्व है. इसका कारण यह बताया जाता है कि इस माह होने वाली पूर्णिमा को सूर्य अपनी उच्च राशि मेष में और चंद्रमा भी अपनी उच्च राशि तुला में होता है,कहते हैं कि बुद्ध पूर्णिमा के दिन किया गया स्नान कई जन्मों के पापों का नाश करता है, हालांकि इस बार लॉकडाउन के चलते लोग गंगा स्‍नान नहीं कर पाएंगे, लेकिन निराश होने की जरूरत नहीं है, आप घर पर ही नहाने के पानी में गंगाजल की कुछ बूंदें मिलाकर स्‍नान कर सकते हैं।
तो भक्तो,,,

!!करो गुरु इष्ट मन्त्र का जप ओर रेहीक्रियायोग का खूब अभ्यास ओर ध्यान और पाओ आत्मा का अहम सत्यास्मि महाज्ञान!!

जय सत्य ॐ सिद्धायै नमः
स्वामी सत्येंद्र सत्यसाहिब जी
Www.satyasmeemission.org

Leave a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Related Articles

Scroll to Top